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मुख्यमंत्री श्री मोहन यादव के प्रथम आदेश का दमोह में नहीं हो रहा पालन.. खुले में मांस विक्री रोकने सहित अन्य मांगों को लेकर नागरिक संरक्षण समिति ने राज्यपाल के नाम ज्ञापन सौंपा..

 नागरिक संरक्षण समिति दमोह ने ज्ञापन सौंपा
दमोह। नगरिक संरक्षण समिति दमोह द्वारा राज्यपाल महोदय को कलेक्टर के माध्यम से एक ज्ञापन सौंपा जिसमें बताया कि माननीय मुख्य मंत्री श्रीमान् मोहन यादव जी द्वारा 13.12.2023 में सी.एम. के रूप में अपने पहले आदेश में धार्मिक स्थों एवं अन्य स्थानों में व्यति विस्तारक मंत्रों (लाउड स्पीकर/डी. जे. संवोधन प्रणाली) के अनियंत्रित व नियम विरुद्ध प्रयोग पर नियंत्रण/कार्यवाही एवं खुले में मांस की विक्री पर रोक हेतु दिशा निर्देश जारी किए थे के परिपालन हेतु ज्ञापन प्रेषित है। आगे बताया कि विषय के अनुक्रम में संज्ञान में आया है कि विभिन्न धर्म स्थलों में निर्धारित डेसिबल का उल्लंघन करते हुए लाउडस्पीकर का उपयोग किया जा रहा है। 

शोर से मनुष्य के काम करने की क्षमता आराम, नींद और संवाद में व्यवधान पड़ता है। कोलाहल पूर्ण वातावरण के कारण उच्च रक्तचाप, वैचेनी, मानसिक तनाव उपा अनिद्रा जैसे प्रभाव शरीर में पाये जाते है अधिक शोर होने पर कान के आंततिक भाग की क्षति होने के प्रमाणे पाये गये है। लाउडस्पीकरों के उपयोग पर व्यापक दिशा निर्देश माननीय सर्वोच्च न्यायालय द्वारा उपरोक्त संदर्भित निर्णय अंतर्गत जारी किए गए है।  उक्त दिये गये दिशा निर्देशों के पालनार्थ माननीय मुख्य मंत्री मो.प्र, शासन द्वारा अपनी प्रथम केबिनेट बैठक में प्रस्ताव पारित करते पर्ण म.प्र. के लिये धार्मिक स्थलों एवं अन्य स्थानों में ध्वनि विस्तारक यंत्रों (लाउडस्पीकर /डी.जे. संबोधन प्रणाली) नियत्रित नियम विरुद्ध प्रयोग पर नियंत्रणा कार्यवाही हेतु एवं खुले में में मांस विक्री पर रोक लगाने हेतु आवश्यक दिशा निर्देश पर जारी किए गए है। किन्तु पारित दिशा-निर्देशों का पालन नहीं किया जा रहा है। महोदय जी से मांग है कितना प्रभाव से पारित दिशा निर्देशों के तहत कठोर कार्यवाही करते हुए ध्वनि विस्तारक यंत्रों को धार्मिक स्थलों में दयाशी उतारने की कार्य की आये। साथ ही खुले में मांस विकी किए जाने पर रोक लगाई जाए कार्यवाही से अवगत कराने की मांग की है।

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