मां दुर्गा की भक्ति में थिरके राज्यमंत्री एवं सांसद
दमोह। प्रदेश के संस्कृति पर्यटन धार्मिक न्यास एवं धर्मस्व राज्यमंत्री स्वतंत्र प्रभार धर्मेन्द्र सिंह लोधी के गृह ग्राम नोहटा में नवरात्रि की सप्तमी के अवसर पर श्री हनुमान शंकर मंदिर में विराजमान माँ दुर्गा जी प्रांगण में सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस आयोजन में स्थानीय कलाकारों सहित सुप्रसिद्ध गायिका कविता पौडवाल जी के द्वारा भजनों की प्रस्तुति दी गई।
इस कार्यक्रम का आयोजन राज्यमंत्री श्री लोधी के नेतृत्व में संस्कृति विभाग के द्वारा किया गया। यहां पर भजनों की प्रस्तुति के दौरान राज्यमंत्री श्री लोधी एवं दमोह सांसद राहुल सिंह लोधी अपने आप को रोक नहीं पाए और सभी साथियों के साथ थिरकते नजर आए।
नवरात्रि की शुभकामनाएं देते हुए राज्यमंत्री श्री लोधी ने कहा बड़ा ही सौभाग्य का दिन रहा हैं पावन पर्व पर मां दुर्गा के समक्ष हम सभी उपस्थित हुए हैं मैं माता रानी से प्रार्थना करता हूं सभी सुखी हों सभी रोगमुक्त रहें सभी मंगलमय घटनाओं के साक्षी बनें किसी को भी दुःख का भागी न बनना पड़े
कार्यक्रम में जिला भाजपा अध्यक्ष प्रीतम सिंह लोधी, जिला पंचायत अध्यक्ष प्रतिनिधि गौरव पटेल, महिला मोर्चा की जिलाध्यक्ष शिखा जैन, सोनम लाल सिंह यादव श्रृद्धालुगण बड़ी संख्या में क्षेत्रवासी एवं जनप्रतिनिधिगणों की उपस्थिति रही।युवा जागृति मंच ने किया शेर नृत्य प्रतियोगिता का आयोजन.. दमोह। माता की भक्ति में जमकर नाचे शेर बुंदेलखंड की प्राचीन परंपरा शेर नृत्य को संरक्षित और प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से दमोह की सामाजिक संस्था युवा जागृति मंच द्वारा लगातार 15 वर्षों से शेर नृत्य कला प्रदर्शन कार्यक्रम का आयोजन दमोह में किया जाता है इस वर्ष भी नवरात्रि की सप्तमी के दिन यह आयोजन भव्य रूप में किया गया.. जिसमें मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित दमोह के पूर्व विधायक अजय टंडन जिला कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष रतन चंद जैन ने कार्यक्रम की सराहना करते हुए कहा कि जहां एक और इस नृत्य का नवरात्रि के समय में धार्मिक महत्व है वहीं दूसरी ओर इस कला को संरक्षित करने का यह सराहनीय प्रयास भी है जिसमें सभी को अपना योगदान देना चाहिए..
कार्यक्रम के आयोजक युवा जागृति मंच के अध्यक्ष नितिन मिश्रा तथा राजकुमार कछवाहा ने बताया कि बुंदेलखंड की प्राचीन परंपरा धीरे-धीरे समाप्त होती जा रही है और कुछ ही जगह देवी पूजन के साथ-साथ नवरात्रि के अवसर पर माता की आराधना करने के लिए उनके वाहन शेर का रूप धारण कर नृत्य किया जाता है जो माता को प्रसन्न करने का एक साधन भी है जिस तरह जंगल से शेर विलुप्त होते जा रहे हैं वैसे यह कला भी धीरे-धीरे संरक्षण के अभाव में समाप्त हो रही है जिस कारण से मंच द्वारा प्रतिवर्ष यह आयोजन किया जाता है उन्होंने धर्म राज्य मंत्री श्री धर्मेंद्र सिंह लोधी जी से अनुरोध भी किया कि इस कला को संरक्षित करने के लिए शासन स्तर पर भी मदद और प्रयास किए जाएं तो निश्चित रूप से यह कला पुनर्जीवित हो सकती है। कार्यक्रम में दिवाले के रघुनंदन पंडा के निर्देशन में बड़े और छोटे शेरों के रूप में कलाकारों नेअपनी उपस्थिति दी जिनको उपस्थित श्रद्धालु जनों और आम जनमानस ने बहुत सराहा और अपने मोबाइलों पर कैद भी किया कार्यक्रम के दौरान परम यादव, संजय चौरसिया, मुकेश रोहितास, आशीष पटेल,अजय नामदेव, हेमराज भइया, अजय जाटव, धर्मवीर राय, पंकज खत्री, के,के अग्रवाल, शमीम कुरेशी वसन्त कुशवाहा, एके चिश्ती, अमर सिंह, ओम पांडे, अरुण मिश्रा, नरेश अहिरवाल सहित सैकड़ो की संख्या में लोगों की उपस्थिति रही। कार्यक्रम का आभार सलोना मिश्रा ने व्यक्त किया।
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