गंगा जमुना धर्मांतरण मामले की प्राचार्य टीचर मीडिया से रूवरू
दमोह। बोर्ड परीक्षा टॉपर स्टूडेंट के फ्लेक्स में हिंदू छात्राओं को भी हिजाब में प्रदर्शित करने वाले गंगा जमुना स्कूल का मामला पूरे प्रदेश में गरमाया हुआ है। राज्य बाल संरक्षण आयोग की टीम को जांच के दौरान यहां की प्राचार्य तथा दो टीचरों के धर्म परिवर्तन का पता लगा था जिसके बाद अटकलें लगाई जाने लगी थी कि यहा पर धर्म परिवर्तन का खेल भी चल रहा है। वही इसको लेकर भाजपा के बड़े नेताओं के बयान सामने आने के बाद राजनैतिक रंग ले चुके इस मामले की हवा निकालने के लिए शह और मात का खेल चलता नजर आया।
मीडिया की सुर्खियां बनने के लिए पहले कुछ भाजपा नेताओं ने जिला शिक्षा
अधिकारी के ऊपर नाटकीय ढंग से स्याही फेंकी और इसके कुछ ही देर बाद प्रायोजित तरीके से गंगा जमुना स्कूल की प्राचार्य और
धर्म परिवर्तन को लेकर चर्चाओं में आई दोनों महिला टीचर एक आवेदन लेकर
कलेक्ट्रेट कार्यालय पहुंची। इस दौरान उन्होंने पहले से इंतजार कर रहे
मीडिया कर्मियों से चर्चा के दौरान स्पस्ट किया कि वह गंगा जमुना स्कूल
खुलने के काफी वर्ष पहले ही वह स्वेच्छा से अपना धर्म परिवर्तन कर चुकी थी।
इन तीनों ही महिलाओं के बयान से साफ लग रहा था कि जैसे उनको किसी ने सिखा
पढ़ा कर भेजा हो।
इधर स्कूल प्रबंधन एवं उनके कुछ
शुभचिंतकों द्वारा जो कि मामला उजागर होने के बाद से अपने संरक्षण में इन
महिलाओं को रखे हुए थे के द्वारा इसकी जानकारी कुछ दस हजारियों को पहले
से दी गई थी। जिससे इन महिलाओं के पहुंचने के पहले ही फिल्म स्टाइल में लाइट कैमरा लाइव जैसे हालात देखने को मिले।
कलेक्ट्रेट के गेट में घुसने से लेकर कलेक्टर की अनुपस्थिति में आवेदन
देने और फिर मीडिया से रूबरू होने की पल-पल की रिकॉर्डिंग की जाती रही और
इसके जरिए गंगा जमुना स्कूल में धर्मांतरण नहीं होता है इस बात की क्लीन
चिट देने की कोशिश भी की जाती रही। बाद में एसपी
ऑफिस पहुंचकर भी इन महिलाओं द्वारा आवेदन दिया गया। देखना होगा महिलाओं के बयान से धर्मांतरण वाले मामले में स्कूल प्रबंधन
को कहां तक क्लीनचिट मिलती है।
स्याही मामले में भाजपा प्रदेश अध्यक्ष का ट्वीट
गंगा
जमुना स्कूल हिजाब मामले में प्रारंभिक जांच के बाद कथित रूप से क्लीन चिट
देने वाले जिला शिक्षा अधिकारी को आज भाजपा के कुछ नेताओं के आक्रोश का
शिकार होना पड़ा था। कार्यालय से निकल रहे जिला डीईओ की गाड़ी को रोककर
उनके ऊपर स्याही फेंकने के घटनाक्रम के बाद इस मामले को लेकर भाजपा के जिला
उपाध्यक्ष अमित बजाज गोलू और पूर्व सह मीडिया प्रभारी मोंटी रैकवार का
बयान भी सामने आया था।
जबकि पूरा घटनाक्रम मीडिया
की सुर्खियां बन जाने के बाद भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष बीडी शर्मा ने ट्वीट
किया है कि कानून अपना काम कर रहा है ऐसे में भावनाओं में बहकर शासकीय
अधिकारी पर स्याही फेंकने जैसा कृत्य करने का अधिकार किसी को भी नहीं है।
भाजपा ने तीन पदाधिकारियों को नोटिस जारी किए..
दमोह भारतीय जनता पार्टी के जिला अध्यक्ष एड प्रीतम सिंह ने जिला शिक्षा
अधिकारी एस के मिश्रा के ऊपर भाजपा पदाधिकारियों के द्वारा स्याही फेंकने
के मामले में संज्ञान लेते हुए संबंधित पदाधिकारी अमित बजाज, संदीप शर्मा
और मोंटी रैकवार को कारण बताओं नोटिस जारी किए हैं, और स्पष्ट किया है कि
स्याही फेंकने की घटना का भारतीय जानता पार्टी समर्थन नहीं करती है। भाजपा
एक अनुशासित कार्यकर्ताओं वाली पार्टी है एवं क़ानून पर पूर्ण रूप से
विश्वास करती है। सिर्फ भावनाओं के आवेश में आकर किया गया यह कृत्य निंदनीय
है। भारतीय जनता पार्टी का इस मामले में कोई भी सरोकार नहीं है अतः
संबंधित जिले के पदाधिकारियों को कारण बताओं नोटिस जारी किए गए हैं।
रात तक दर्ज नहीं हो पाई शिक्षा अधिकारी की रिपोर्ट
इस
मामले के बाद शिक्षा अधिकारी एस के मिश्रा खुद को निर्दोष बताते नजर आए।
उनका कहना था कि गंगा जमुना मामले में उनके द्वारा कोई भी रिपोर्ट या
क्लीनचिट नहीं सौंपी गई है।
शाम को वह इस मामले में लिखित आवेदन लेकर
रिपोर्ट दर्ज कराने के लिए कोतवाली गए थे लेकिन हस्तलिखित आवेदन होने की
वजह से कोतवाली में उनका आवेदन भी नहीं लिया जा सका था। उनसे टाइप आवेदन
लाकर देने को कहा गया है जिसके बाद रात 10 बजे उनके दोबारा आवदेन लेकर कोतवाली पहुचने की जानकारी सामने आई है।
शिक्षा मंत्री ने जता दी आतंकी कनेक्शन की संभावना
गंगा
जमुना स्कूल हिजाब धर्मांतरण मामले को लेकर प्रदेश के शिक्षा मंत्री इंदर
सिंह परमार का एक बयान चर्चा में बना हुआ है जिसमें वह स्कूल संचालकों के
आतंकी कनेक्शन तक की संभावना जताते नजर आये थे...
वही मामले की जांच में
लापरवाही को लेकर मंत्री जी ने कलेक्टर तथा डीईओ पर भी कटाक्ष करते नजर आए
हैं वहीं के द्वारा जिला शिक्षा अधिकारी को हटाने की बात भी कही गई थी उनके
इस बयान के बाद ही भाजपा नेताओं द्वारा जिला शिक्षा अधिकारी पर साईं
फेंकने की घटना की गई..
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