घायल बन्दर को बाइक सवार युवकों ने बचाया..
दमोह। कोरोना कर्फ्यू तथा भीषण गर्मी का असर सिग्रामपुर के जंगल मे विचरण करने वाले वन्य जीवों के ऊपर भी पड़ता नजर आ रहा है। इधर लाक डाउन के चलते दमोह जबलपुर रोड पर वाहनों की आवाजाही नाम मात्र की हो जाने से सिग्रामपुर जंगल से सड़क पर आ जाने वाले बंदरों को राहगीर वाहन चालकों द्वारा दिए जाने वाले फल आदि भी नही नही मिल पा रहे है। जिससे बड़ी संख्या में बन्दरो का जमाबड़ा सड़क पर बने रहने और भूख प्यास के चलते बेहोश होने के नजारे सामने आ रहे है।
रानी दुर्गावती वन अभ्यारण सिग्रामपुर के वन्य प्राणी गर्मी के इस मौसम में हाल बेहाल हैं। भूख और प्यास मैं भटकते वन्य प्राणियों को आज दमोह जबलपुर स्टेट हाईवे आश लगा कर बैठते हैं कि यहां से गुजरने वाले राहगीर उन्हें दाना और पानी उपलब्ध कराएंगे। जिससे वह अपनी भूख मिटा सकें। किंतु अक्सर देखा गया है कि भूख प्यास में भटक रहे। इन वन्य प्राणियों में बंदर आश लगाकर मुख्य सड़क मार्ग के किनारे बैठते हैं। और राहगीर उन्हें चलती गाड़ियों से दाना या फल आदि डालते हैं ।तो यह बंदर दाना और फल पाने के चक्कर मे दुर्घटनाओं के शिकार होते रहते हैं। वही रानी दुर्गावती अभ्यारण में पदस्थ वन स्टाफ एवं रानीताल के सरकारी क्वार्टरों में निवासरत अन्य वन कर्मी हमेशा मुख्यालय से नदारद रहते हैं। जिससे यह वाहन चालक बेरोकटोक बंदरों सहित अन्य वन्य प्राणियों को चलती गाड़ियों से दाना या फल आदि डालते हुए निकलते हैं। जिससे बंदर सड़क दुर्घटना के शिकार हो रहे हैं अब तक सड़क दुर्घटनाओं के दर्जनों मामले सामने आ चुके है। जिनमें बंदर सहित अन्य वन्य प्राणी अपनी जान गवा बैठे हैं।
ऐसा ही सड़क दुर्घटना का एक ताजा मामला सामने आया। जब इसी स्टेट हाईवे से गुजर रहे युवकों में दमोह निवासी शनि,राहुल,मयंक,शैलेन्द्र जैन ने एक मुख्य सड़क मार्ग पर एक बंदर को तड़पते देखा।जो गम्भीर रूप से घायल अवस्था में अचेत पड़ा था। तत्काल रुक कर इन युवाओं ने बंदर को मुख्य सड़क मार्ग के किनारे कर उसे अपनापन दिखाकर उस पर हाथ फेरा ब पानी पिलाया। जिससे घायल अचेत पड़े बंदर को चेतन्यता आई।बही तत्काल बंदर के घायल होने की सूचना प्रभारी रेंजर भगवान सिंह राजपूत को दी गई। उन्होंने सूचना को गम्भीरता से लेते हुए। अपने स्टाफ से तत्काल बीटगार्ड राहुल गुलहाटी और एक अन्य बनकर्मी को मौके पर पहुंचाया।
बीटगार्ड गुलहाटी ने घायल बंदर को लेकर पशु चिकित्सालय जबेरा पहुचाया। जहां घायल बन्दर का इलाज करवा कर दानीताल रेस्ट हाउस पर सुरक्षित रखा गया है बीटगार्ड राहुल गुलहाटी ने बताया कि बंदर गम्भीर रूप से घायल हुआ है। मगर तत्काल उसका इलाज जबेरा लाकर करा दिया गया है। कुछ दिन में वह स्वस्थ हो जाएगा। वहीं स्थानीय लोगों ने डीएफओ दमोह से रानी दुर्गावती अभ्यारण के वन स्टाफ को दानीताल में मुख्यालय बनाने आदेशित करने की मांग की है
मामले में डीएफओ विपिन पटेल का कहना है की रानीदुर्गावती वन अभ्यारण्य के वनकर्मी का मुख्यालय बनाकर न रहने की शिकायत मिल रही है। में तत्काल मुख्यालय बनाकर रहने के लिए आदेशित करता हूं और जल्द ही वन्य प्राणियों की सुरक्षा हेतु जल्द ही वाहनों का रोको टोको अभियान चलाया जाएगा। जबेरा से मयंक जैन की रिपोर्ट
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