विधायक से रेंजर की तूतू मैमे का आडियों वायरल..
केंद्रीय मंत्री प्रहलाद पटेल तथा पूर्व केंद्रीय मंत्री उमा भारती के खासम खास कहे जाने वाले जबेरा विधायक धर्मेंद्र सिंह लोधी को मछली पकड़ने के मामले में फंसे भाजपा के दो कार्यकर्ताओं की सर्रा रेंजर तिलक सिंह सिंह से मोबाइल पर सिफारिश करना महंगा पड़ गया है। दरअसल भाजपा के दोनों कार्यकर्ताओं को वन क्षेत्र में स्थित एक तालाब से मछली पकड़ने के आरोप में 10 जुलाई को पकड़ा गया था। जिन्हें छोड़ने की सिफारिश करने विधायक धर्मेंद्र सिंह ने रेंजर को मोबाइल पर कॉल किया था। लेकिन रेंजर ने विधायक की एक नहीं सुनी उल्टे उनके द्वारा धमकाने की ऑडियो सोशल मीडिया पर वायरल करा दी गई। हालांकि इस ऑडियो में विधायक धर्मेंद्र सिंह की आवाज पहले रेंजर से नमस्कार कर निवेदन के लहजे में सुनाई दे रही है लेकिन जब रेंजर विधायक की सिफारिश को तवज्जो नहीं देते हैं तो फिर विधायक धमकाने वाले अंदाज में खरी खरी सुनाने से नहीं चूकते।
दमोह। मप्र में कांग्रेस से दल बदल कर के आए सिंधिया समर्थक पूर्व विधायकों के दम पर टिकी शिवराज सरकार में अब भाजपा विधायकों की उपेक्षा के बाद छोटे अधिकारी कर्मचारी भी विधायकों की सिफारिश को तवज्जो नहीं दे रहे हैं। ताजा मामला दमोह जिले में सामने आया है जहां विधायक धर्मेंद्र सिंह लोधी द्वारा एक रेंजर से की गई सिफारिश को ना केवल नकार दिया गया बल्कि उनके द्वारा धमकाने का ऑडियो सोशल मीडिया पर वायरल करते हुए शासकीय कार्य में बाधा, धमकाने की शिकायत ही विधायक के खिलाफ कर दी गई।
सोशल मीडिया पर यह ऑडियो वायरल होने के बाद उक्त रेंजर की अनेक शिकायतें पूर्व से होने की जानकारी सामने आई है। वही विधायक धर्मेंद्र सिंह लोधी द्वारा 10 जून 2020 को नौरादेही अभ्यारण वन संरक्षक से उक्त रेंजर की शिकायत कर उसे हटाने की मांग का एक पत्र भी सामने आया है। इधर रेंजर तिलक सिंह द्वारा विधायक से मोबाइल पर हुई तू-तू मैं-मैं के मामले में तेंदूखेड़ा पहुंचकर एसडीओपी को आवेदन देकर मोबाइल पर धमकाने व शासकीय कार्य में बाधा डालने की शिकायत की गई है।
रेंजर तिलक सिंह का कहना है उनके साथ में मोबाइल पर जो बर्ताव किया गया है उसकी उन्होंने शिकायत करते हुए कार्रवाई की मांग की है। वही इस मामले में मछली पकड़ने के आरोप में विभिन्न धाराओं के तहत आरोपी बनाए गए भाजपा कार्यकर्ताओं को रेंजर द्वारा दमोह कोर्ट में पेश किए जाने और फिर उन्हें जेल भेज दिए जाने की जानकारी भी सामने आई है। इधर विधायक धर्मेंद्र सिंह लोधी द्वारा मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से उक्त रेंजर की शिकायत करते हुए खिलाफ में कार्रवाई करने की मांग भी की गई है।
कुल मिलाकर शिवराज सरकार में उनकी ही पार्टी के विधायक की एक रेंजर द्वारा सिफारिश नहीं सुने जाने तथा धमकाया जाने का ऑडियो वायरल करके विधायक के खिलाफ कार्रवाई की मांग का आवेदन पुलिस को दिए जाने के घटनाक्रम ने भाजपा नेता कार्यकर्ताओं को चिंता में डाल दिया है। बात बात में अधिकारियों को मोबाइल करके सिफारिश करने और दबाव बनाने के आदी नेता तो इस घटनाक्रम से सबसे अधिक टेंशन में नजर आ रहे हैं। कुछ नेताओं का तो यहां तक मानना है कि यदि रेंजर पर तत्काल कार्यवाही नहीं हुई तो कल उनके धमकाने के ऑडियो को भी दूसरे अधिकारी वायरल कर सकते हैं। क्योंकि इस मामले से यह साफ संकेत जा रहा है जब भाजपा सरकार में पार्टी के विधायक का यह हाल है तो ठेकेदार नुमा नेताओं के साथ क्या कुछ नहीं हो सकता..! जय हो सिंधिया समर्थक पूर्व विधायकों के मंत्री बनने तथा उनके दम पर टिकी शिवराज सरकार और इनके अधिकारियों की। पिक्चर अभी बाकी है.. अटल राजेंद्र जैन
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