जिला पंचायत सीईओ के खिलाफ दूसरे दिन भी दिया धरना
छतरपुर में जिला पंचायत की महिला दलित अध्यक्ष के अपमान का मामला शांत होने का नाम नहीं ले रहा है। मध्यप्रदेश स्थापना दिवस के मौके पर जिला पंचायत कार्यालय के बाहर सीईओ के पुतला दहन और नारेबाजी प्रदर्शन से शुरू हुआ धरना शनिवार 2 नवंबर को भी जारी रहा वही धरने पर बैठे अध्यक्ष उपाध्यक्ष सदस्यों द्वारा सद्बुद्धि के लिए भगवान से प्रार्थना करते हुए भजन किए गए। वही 3 नवंबर को मुख्यमंत्री श्री कमलनाथ के बिजवार आगमन के मौके पर सीईओ के खिलाफ एक ज्ञापन सौंपा जाएगा।छतरपुर के जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी के मनमाने रवैए और अध्यक्ष सदस्यों के साथ किए जाने वाले अपमानजनक मामले में शनिवार को भी कोई समाधान नहीं निकल सका जिस वजह से जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती कलावती अनुरागी के नेतृत्व में उपाध्यक्ष अमित पटेरिया सहित अनेक सदस्यों ने धरना प्रदर्शन जारी रखा। इस दौरान जिला पंचायत सदस्य गोविंद नारायण, कामता बंसल, प्रहलाद विश्वकर्मा, उषा दिनेश यादव, कामाख्या प्रताप सिंह, दरबारी कुशवाहा, चंद्र राजे विजय प्रताप, हरिभाई बृज बिहारी अहिरवार, रईस रानी, बलवीर सिंह, अनीता संतोष पाराशर, पारुल अशोक मिश्रा, कल्याण सिंह यादव, प्रीतम सिंह, राम विशाल पाल, अंजना राय, शिवमंगल पाठक, मीना राजा ,सरोज नेहा प्रसाद पटेल और हर प्रसाद अनुरागी मौजूदगी रही।
जिला पंचायत उपाध्यक्ष अमित पटेरिया ने बताया कि जिला पंचायत के सीईओ को छतरपुर से हटाए जाने के आदेश जारी होने तक अध्यक्ष एवं सदस्यों का यह आंदोलन विभिन्न चरणों में निरंतर जारी रहेगा 3 नवंबर को मुख्यमंत्री कमलनाथ बिजावर आगमन के मौके पर जिला पंचायत अध्यक्ष के नेतृत्व में पूरे घटनाक्रम को लेकर एक ज्ञापन सौंपा जाएगा वही 4 नवंबर को प्रभारी मंत्री की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट में आयोजित जिला योजना समिति की बैठक में जिला पंचायत सीईओ के खिलाफ निंदा प्रस्ताव रखते हुए प्रभारी मंत्री को पूरे हालात से अवगत कराते हुए बैठक का बहिष्कार किया जाएगा।
उल्लेखनीय है कि छतरपुर पिछले दिनों कलेक्टर चेंबर में जिला पंचायत की दलित महिला अध्यक्ष कलावती अनुरागी द्वारा निरीक्षण शिकायत पर जब जिला पंचायत के सीईओ हिमांशु चंद्र से कारवाई की जानकारी चाही गई थी तो सीईओ ने उन्हें फटकार लगाते हुए कह दिया था उनको इस तरह के भ्रमण निरीक्षण का कोई अधिकार नहीं है। जिसके बाद खुद को अपमानित महसूस कर रही पंचायत अध्यक्ष के साथ में उपाध्यक्ष एवं अनेक सदस्यों न जिला सीईओ हिंमांशु चंद्र के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए मप्र स्थापना दिवस के मौके पर धरना प्रदर्शन करके पुतला दहन किया था। वहीं उनकों हटाए जाने की मांग को लेकर आंदोलन जारी रखने की घोषणा की थी।
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